राजधानी में छठ पूजा के लिए जिला प्रशासन अलग से कोई गाइडलाइन जारी नहीं करेगा। व्यवस्था बनाने के लिए विभिन्न घाटों पर पांच हजार से ज्यादा अधिकारी-कर्मचारी तैनात रहेंगे। प्रशासन ने घाट पर जाने के लिए किसी प्रकार की बंदिश नहीं लगाई है। घाट पर पूजा के दौरान केवल यह देखा जाएगा कि भीड़ की स्थिति न बने और सोशल डिस्टेंसिंग का पालन हो। जितने भी लोग घाट पर पहुंचे सभी मास्क लगाकर ही आएं। हालांकि प्रशासन के अधिकारियों ने कहा है कि लोग पूरी सावधनी बरतें और भीड़-भाड़ से बचें। कोरोना को ध्यान में रखते हुए ही आयोजन किए जाएं।
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नहाय खाय से शुरुआत
बुधवार को नहाय-खाय की रस्म के साथ छठ पर्व की शुरुआत हो गई है। गुरुवार को खरना रस्म। शुक्रवार को ढलते सूर्य को अर्घ्य दिया जाएगा। शनिवार को उगते सूरज को अर्घ्य देकर व्रत पूरा होगा।
निगम के अस्थाई कुंड भी…
खटलापुरा, काली मंदिर, ओल्ड सुभाष नगर, एकतापुरी, शाहपुरा, अशोका गार्डन विश्वकर्मा मंदिर बाग मुगालिया, काशी विश्वनाथ मंदिर करोंद, अयोध्या नगर, कलियासोत और बेहटा गांव बैरागढ़ समेत 40 स्थानों पर पूजा होगी। इसके अलावा नगर निगम ने भी कई जगह पर अस्थाई कु़ंड बनाए हैं।
अयोध्या नगर… सरयू पार्क के घाट पर अनुष्ठान
पूर्वांचल सामाजिक व सांस्कृतिक समिति के अध्यक्ष कौशल झा व धीरज ऋषि मे बताया कि अयोध्या नगर के सरयू पार्क स्थित घाट पर शुक्रवार शाम 4 बजे से पूजा प्रारंभ हो जाएगी।
बड़ा तालाब… प्रवाहित किए जाएंगे 2100 दीप, घाटों पर पॉलिथीन का उपयोग पूर्णत: प्रतिबंधित
भोजपुरी एकता मंच के तत्वावधान में शीतलदास की बगिया व वर्धमान पार्क स्थित नवीन घाट पर छठ पूजा का आयोजन किया जाएगा। अध्यक्ष प्रसाद ने बताया कि महिलाओं व उनके परिजनों का यहां दोपहर 3 बजे से पहुंचना शुरू हो जाएगा। इस दौरान पॉलिथीन का उपयोग पूर्णत: प्रतिबंधित रहेगा। इस अवसर पर तालाब में 2100 दीप प्रवाहित किए जाएंगे। शहर में भोजपुरी समाज के करीब 3.50 लाख लोग रहते हैं।
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शर्त के साथ मिली है अनुमति
भोजपुरी एकता मंच के अध्यक्ष कुंवर प्रसाद ने बताया कि कोविड नियमों का पालन करने की शर्त के साथ प्रशासन ने घाटों पर छठ पूजा की अनुमति दी है। हर साल करीब 20 स्थानों पर छठ पूजा के आयोजन किए जाते थे, लेकिन इस बार इनकी संख्या 40 कर दी गई है। नगर निगम के सहयोग से कई स्थानों पर अस्थाई जल कुंड बनाए गए हैं। लोगों से अपील है कि संक्रमण के चलते लोग घर में ही छठ महापर्व मनाएं तो बेहतर होगा।
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किसी भी व्यक्ति को भीड़ एकत्रित करने की अनुमति नहीं
जिले के घाटों पर छठ पूजा के लिए 5 हजार से ज्यादा कर्मचारी व्यवस्था संभालेंगे। इनमें पुलिस, प्रशासन, नगर निगम आदि के कर्मचारी कर्मचारी शामिल हैं। प्रशासन के अधिकारियों की दलील है कि छठ पूजा के लिए बंदिश नहीं है। जिस प्रकार दीपावली लोगों ने मनाई वैसे ही जिसे छठ पूजा करना है, वो कर सकेगा। किसी भी व्यक्ति को भीड़ एकत्रित करने की अनुमति नहीं दी गई है। यह व्यक्तिगत आस्था की बात है जिसे पूजा करने जाना है, वह जा सकेगा।
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नहाय-खाय के साथ शुभारंभ, शुक्रवार को अर्द्य देकर होगी सूर्यदेव की पूजा-आराधना
यहां भी व्यवस्था
नहाय खाय के साथ छठ महापर्व की शुरुआत हो चुकी है। शहर के प्रमुख घाट भी तैयार हैं। शुक्रवार को इन घाटों पर महिलाएं ढलते सूर्य को अर्घ्य देकर पूजा-अर्चना करेंगी, लेकिन किसी को भी घाट पर बिना मास्क के प्रवेश नहीं दिया जाएगा। प्रवेश के पहले थर्मल स्क्रीनिंग भी की जाएगी। व्यवस्था बनाने के लिए विभिन्न घाटों पर 5 हजार से ज्यादा अधिकारी-कर्मचारी तैनात रहेंगे। इनमें पुलिस, प्रशासन, नगर निगम आदि के कर्मचारी शामिल हैं। प्रशासन ने घाट पर जाने के लिए कोई बंदिश नहीं लगाई है। घाट पर पूजा के दौरान सिर्फ यह देखा जाएगा कि भीड़ की स्थिति न बने और सोशल डिस्टेंसिंग बनी रहे।
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अलग से कोई गाइडलाइन नहीं
सीधी बात- अविनाश लवानिया, कलेक्टर
- पूजा पर कोई रोक नहीं, मास्क व डिस्टेंसिंग का ख्याल रखना होगा
- क्या छठ पूजा के लिए अलग से कोई गाडलाइन जारी की जाएगी?
- नहीं, जैसे अन्य त्योहार मनाए गए, वैसे ही छठ पूजा भी की जाएगी। अलग से किसी तरह की गाइडलाइन नहीं है।
- कई शहरों और राज्यों में सार्वजनिक स्तर पर बड़े आयोजन की रोक है ?
- हमने भी ऐसी कोई अनुमति नहीं दी है। यह व्यक्तिगत आस्था है कि लोग जाते हैं और पूजा करते हैं। पूजा पर किसी प्रकार की कोई रोक नहीं है। जिसे जहां पूजा करना है, वह कर सकता है।
- भीड़ एकत्रित न हो इसके लिए क्या इंतजाम किए जाएंगे?
- घाटों पर नगर निगम, पुलिस और जिला प्रशासन के अधिकारी-कर्मचारी रहेंगे। सोशल डिस्टेंसिंग का विशेष ध्यान रखेंगे।